परिवहन निगम कर्मचारियों का धरना

17 जुलाई, 2012 को हिमाचल की राजधानी शिमला में, हिमाचल पथ परिवहन निगम कर्मचारी संयुक्त समन्वय समिति की अगुवाई में, परिवहन निगम के कर्मचारियों ने अपनी मांगों को लेकर धरना दिया। धरने में प्रदेश भर से लगभग डेढ़ हजार परिवहन निगम कर्मचारियों ने हिस्सा लिया। इनमें सभी 23डिपुओं के कर्मचारी शामिल थे।

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बिजली वितरण को निजी हाथ में सौंपने का विरोध

22 जुलाई, 2012 को चंडीगढ़ में बिजली कर्मचारियों के प्रमुख संगठन ऑल हरियाणा पॉवर कॉरपोरेशन वर्कर यूनियन ने सरकार व निगम प्रबंधन द्वारा पानीपत सर्कल और राज्य के अन्य शहरी व ग्रामीण फीडरों की बिजली वितरण प्रणाली को निजी हाथों में सौंपने के प्रयासों का वि

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हरियाणा सरकार के खिलाफ़ प्रदर्शन

21 जुलाई, 2012 को मारूती-सुजुकी (मानेसर) के मजदूरों पर राजकीय दमन के खिलाफ़ दिल्ली के विभिन्न मजदूर संगठनों और जन संगठनों ने एकजुट होकर, दिल्ली स्थित हरियाणा भवन पर प्रदर्शन किया।

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लोगों के हाथ में राजनीतिक सत्ता नहीं है!

15 जुलाई, 2012 को पूर्वी दिल्ली के शशी गार्डन में हिन्द नौजवान एकता सभा और लोक राज संगठन के तत्वाधान में 'प्रतिभा विकास प्रतियोगिता' आयोजित की गयी। इसमें नौजवान युवक-युवतियों ने बढ़चढ़ कर हिस्सा लिया।

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दिल्ली की बिजली दरों में वृध्दि, लोगों की जीविका पर क्रूर हमला है!

हिन्दोस्तान की कम्युनिस्ट ग़दर पार्टी की दिल्ली इलाका समिति का बयान, 10 जुलाई 2012

26 जून को दिल्ली विद्युत नियामक आयोग (डी.ई.आर.सी.) ने दिल्ली के घरेलू उपभोक्ताओं की बिजली दर सारणी में 25 से 27 प्रतिशत की वृध्दि की घोषणा की। एक वर्ष से भी कम समय में दिल्ली के निवासियों को प्रति यूनिट बिजली के लिये 65 प्रतिशत अधिक भुगतान करना पड़ेगा। इसके अलावा, मासिक स्थायी भुगतान में भी 33 प्रति

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पाकिस्तान में नाटो के सप्लाई मार्गों को पुन: खोले जाने के खिलाफ़ जन-विरोध

पिछले हफ्ते में जब पाकिस्तान के अंदर से अफगानिस्तान जाने के नाटों के सप्लाई मार्गों को पुन: खोला गया, तो पूरे देश में भारी संख्या में लोग इसका विरोध कर रहे हैं। पिछले नवम्बर में जब पाकिस्तान स्थित चलाला वायु सैनिक अड्डे पर अमरीकी मिसाइल हमले से 24 पाकिस्तानी सैनिक मारे गये थे, तो उसके बाद पाकिस्तान की सरकार ने इन सप्लाई मार्गों को बंद कर दिया था। अमरीका ने उस मिसाइल हमले के लिए न तो पाकिस्ता

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छत्तीसगढ़ में आदिवासियों के जनसंहार की निंदा करें!

समाचार पत्रों की खबरों के अनुसार, 29 जून, 2012 को केन्द्रीय रिजर्व पुलिस फोर्स और कोबरा कमांडो यूनिट के लगभग 600 सिपाहियों ने छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में गांव वासियों के समूह पर गोली चलाई, जिसकी वजह से कम से कम 20 गांव वासी मारे गये। इनमें कई बच्चे और वयस्क महिला व पुरुष भी थे। अनेक गांव वासी घायल हुये और सी.आर.पी.एफ. द्वारा जवान लड़कियों के साथ दुष्कर्म भी किया गया।

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कातिलों का सहयोग करने के लिए हिन्दोस्तानी राज्य की निंदा करें!

26 जून को अमरीका की एक अदालत ने यह फैसला जारी किया कि अमरीका स्थित यूनियन कारबाइड कारपोरेशन (यू.सी.सी.) और उसके भूतपूर्व प्रधान वारेन एंडरसन भोपाल में छोड़े गये जहरीले अवशेषों के द्वारा हुए नुकसान के लिए जिम्मेदार नहीं हैं। न ही उन्हें सफाई करने का आदेश दिया जा सकता है, ऐसा अदालत ने कहा।

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गेहूं निर्यात करने के फैसले की निंदा करो

2 जुलाई को, आर्थिक मामलों पर मंत्रीमंडल की समिति ने खाद्य मंत्रालय द्वारा पेश किये गये, भंडार में से 20 लाख टन गेहूं के निर्यात करने के, एक प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। मज़दूर एकता लहर हिन्दोस्तानी सरकार के इस घोर जन-विरोधी फैसले की कड़ी निंदा करती है।

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